आज वीर शिरोमणि शहीद चन्द्रशेखर आज़ाद जी की जन्मजयंती है. इस पुण्य अवसर आपको ले कर चलते हैं, उनके जन्मस्थान, जो कि मध्य प्रदेश के अलीराजपुर ज़िले के ग्राम भाबरा में है, वर्ष 2016 में मुझे वहाँ शीश नवाने का सौभाग्य मिला था। जन्मस्थल से नजदीकी रेलवे स्टेशन गुजरात का दाहोद है जो यहाँ से करीब 40 किलोमीटर की दूरी पर है। उनके सम्मान में “भाबरा” का नाम चन्द्रशेखर नगर कर दिया गया है।
चन्द्रशेखर आज़ाद जी जन्म 23 जुलाई 1906 को पंडित सीताराम तिवारी और श्रीमती जगरानी देवी जी के यहाँ हुआ। भारत के क्रन्तिकारी आंदोलन के प्रमुख माने जाने वाले आज़ाद का बचपन का नाम चन्द्रशेखर तिवारी था। इनका एक ही फलसफ़ा था और वो था “आज़ाद जीने का और आज़ाद ही मरने का”, और हुआ भी बिल्कुल ऐसा ही। इलाहबाद के चन्द्रशेखर आज़ाद पार्क में अंग्रेजों द्वारा घेर लिए जाने पर, स्वयं को गोली मार ली पर अंग्रेजों की पकड़ में नहीं आए और इस दुनिया से आज़ाद ही गए। शहीद ए आज़म भगत सिंह, चन्द्रशेखर आज़ाद को अपना आदर्श मानते थे।
ऐसी पावन धरती और ऐसे वीर सपूत को मेरा शत् शत् वंदन। जय हिन्द जय भारत।